“श्री गुरु नानक देव जी प्रकाशोत्सव पर”
-जगमोहन सिंह बरहोक की कलम से "सतगुरु नानक परगटिआ मिटी धुंध जग चानण होया "( शाब्दिक अर्थ -सतगुरु नानक के धरती पर प्रकट होते ही धुंध छंट गई और उजाला…
-जगमोहन सिंह बरहोक की कलम से "सतगुरु नानक परगटिआ मिटी धुंध जग चानण होया "( शाब्दिक अर्थ -सतगुरु नानक के धरती पर प्रकट होते ही धुंध छंट गई और उजाला…