“Kishore Kumar-A Name Synonymous With Rhythm & Ebullience”

By Jagmohan Singh Barhok मेरे महबूब क़यामत होगीआज रुसवा तेरी गलियों में मुहब्बत होगीतेरी गली मैं आता सनमनग़मे वफ़ा के गाता सनमतुझ से सुना ना जाता सनमअब आ पहुंचा आया…

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“He Remained ‘Ever Green’ Until He Breathed His Last”

By Jagmohan Singh Barhok On His Death Anniversary नज़रों से कितने तीर चलेचलने दो जिगर पर झेलेंगेइन प्यार की उजली राहों परहम जान की बाज़ी खेलेंगेइन दो नैनों के सागर…

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